नई दिल्ली। अब ऑनलाइन मीडिया पर भी केंद्र सरकार का नियंत्रण होगा। केंद्र सरकार ने ऑनलाइन न्यूज़ पोर्टल और ओटीपी प्लेटफार्म को लेकर कुछ नीतिगत बदलाव किए हैं। जिसका असर आने वाले समय में देशभर में खुल रहे न्यूज़ पोर्टल पर भी नजर आएगा। इन न्यूज़ पोर्टल की खबरों पर केंद्र सरकार की पैनी नजर रहेगी।
देश में डिजिटल सामग्री को नियंत्रित करने के लिए कोई कानून या स्वायत्त निकाय नहीं था। कैबिनेट ने ऑनलाइन मीडिया के इन प्लेटफॉर्म्स को आईबी मंत्रालय के तहत लाने की अधिसूचना मंगलवार की रात जारी कर दी। सूत्रों के अनुसार आने वाले समय में न्यूज़ पोर्टल की गतिविधियों पर नजर रखने के लिए प्रदेश व जिले स्तर पर भी ऐसे ढांचे तैयार किए जाएंगे, जोकि न्यूज़ पोर्टल की गतिविधियों पर और उनकी सामग्रियों पर नजर रखेगा। वैसे तो यह कदम प्रशंसनीय ही कहा जाएगा और कहां जाना भी चाहिए लेकिन देखने वाली बात यह होगी कि इसका दुष्प्रभाव मीडिया की स्वतंत्रता पर ना पड़े। सूचना प्रसारण मंत्रालय को ऑनलाइन प्लेटफार्म पर उपलब्ध फिल्म , ऑडियो – वीडियो , न्यूज वेबसाइट और करेंट अफेयर्स से संबंधित सामग्रियों के लिए नीतिगत नियमन का अधिकार मिल गया है ।
हालांकि , नियमन को लेकर तस्वीर अभी साफ नहीं है । प्रकाश जावडेकर ने कहा कि वह इस मुद्दे पर गुरुवार को विस्तार से जानकारी देंगे । मालूम हो कि ओटीटी प्लेटफार्म पर दिखाई जाने वाली सामग्री को लेकर सरकार को काफी शिकायतें मिल रही थीं । सुप्रीम कोर्ट ने ऑनलाइन प्लेटफॉर्न्स पर नियमन की मांग वाली याचिका पर केंद्र सरकार का रुख पूछा था ।
उल्लेखनीय है कि केंद्र सरकार ने नेटफ्लिक्स, अमेजन प्राइम वीडियो जैसे ओवर द टॉप ( ओटीटी ) प्लेटफॉर्स और ऑनलाइन प्लेटफॉर्म पर न्यूज और करेंट अफेयर की सामग्रियों को सूचना एवं प्रसारण मंत्रालय के दायरे में ला दिया है । इसके साथ ही मंत्रालय को इन्हें नियंत्रित करने के लिए नीतियां और नियम बनाने के लिए अधिकार भी दे दिए गये हैं । सुप्रीम कोर्ट में ओटीटी और ऑनलाइन कंटेंट को नियमन के अधीन लाने के दिए गए आश्वासन के अनुरूप सरकार ने यह कदम उठाया है । अब तक, देश में डिजिटल सामग्री को नियंत्रित करने वाला कोई कानून या स्वायत्त निकाय नहीं था । कैबिनेट सचिवालय ने ऑनलाइन मीडिया के इन प्लेटफार्स को आइबी मंत्रालय के तहत लाने की अधिसूचना मंगलवार रात जारी की थी । इसके तहत नेटफ्लिक्स , अमेजन प्राइम वीडियो के अलावा डिज्नी प्लस हॉटस्टार से लेकर तमाम डिजिटल न्यूज वेवसाइट और कंटेंट प्रोवाइडर अब सरकारी नियमन के दायरे में आ गए हैं ।
राष्ट्रपति की ओर से जारी इस अधिसूचना में कहा गया है कि संविधान के अनुच्छेद 77 के खंड तीन में निहित शक्तियों का उपयोग करते हुए भारत सरकार ( कार्य आवंटन ) नियमावली , 1961 को संशोधित करते हुए यह फैसला किया है । फैसला तत्काल प्रभाव से लागू हो गया है ।